बहुत बातें हम सीखते हैं
जानते हैं और समझते हैं
के सब पता है कम से कम
जानकारी तो है मगर नहीं
कनाडा के इस सफर में
बहुत कुछ सीखने का
समझने का मौका मिला
जैसे के समलैंगिकता
ये दुनिया में हर जगह है
मगर मैंने पहले कभी
अपने देश में इस लफ्ज़
का इजहार भी नहीं देखा
एक बात समझ आयी
हम सब इंसान हैं फिर भी
अलग-अलग हैं सोचते
अपनी-अपनी हस्ती के हम
सभी को साथ है रहना
अच्छा लगा के यहाँ खुल के
बात तो किया जाता है
अच्छी हो या बुरी बात
अगर छुपाके दबाके रखोगे
तो कुछ भी तो नहीं बदलेगा
और हर जगह और इंसान
में विकास आता है सिर्फ
सवालों से आवाज़ों से
जो के बहुत ज़रूरी है
वर्ना ये एक बेबसी है
कूएं में रहे मेंढक समान
~ फ़िज़ा
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